युग जागरण न्यूज़ नेटवर्क
मनकापुर (गोण्डा)। लकड़ी व्यवसायी ने जिलाधिकारी नेहा शर्मा से एसडीएम नाजायज रूप से परेशान करने व मानसिक उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए जिलाधिकारी नेहा शर्मा से न्याय की गुहार लगायी है।क्षेत्र के भिटौरा गांव के रहने वाले हनुमान सिंह ने जिलाधिकारी नेहा शर्मा को दिए शिकायती पत्र में कहा है कि नबाबगंज-रेहरा मार्ग पर जय मां शेरा वाली टिम्बर व जलौनी विक्रेता का संचालन करता है और फर्म का प्रोपराइटर भी है। फर्म वाणिज्य कर व मंडी समिति में पंजीकृत है।
इसी से बीते 19 दिसंबर 2023 को क्षेत्र ग्राम पचपुती जगतापुर के रहने वाले गिरेन्द्र बहादुर सिंह व विनोद कुमार सिंह पुत्र गण सूर्यनारायन सिंह के खेत मे लगे सागौन के क्रय शुदा पेड़ों को कटवा कर अपने टिम्बर पर ले जा रहा था। जिसकी वन विभाग से 02 दिसंबर 2023 को वैध अनुमति पत्र भी जारी था।उसके बाद भी उपजिलाधिकारी राजीव मोहन सक्सेना ने ट्रैक्टर-ट्रॉली पर लदी लकड़ी को नाजायज व अवैध तरीके से पीड़ित को आर्थिक क्षति पहुचने की मंशा से कोतवाली में ला कर खड़ा करवा दिया।
इसके पूर्व में भी उपजिलाधिकारी द्वारा इसी साल 05 नवंबर को अशरफपुर गांव के रामकल्प से वैध परमिट पर खरीदे गए पेंड़ को कटवा कर उसकी लकड़ी टिम्बर पर ले जाते समय ट्रैक्टर-ट्राली सहित लकड़ी को कई दिनों तक कोतवाली में जांच के नाम पर रोकने के बाद 06 दिसंबर को छोड़ दिया गया।इस मामले में पीड़ित व्यवसायी ने जिलाधिकारी से मिलकर उपजिलाधिकारी द्वारा उत्पीड़न करने की शिकायत की है।पीड़ित ने कहा है कि जीएसटी की भारी रकम सरकार को राजस्व देने के बाद भी उपजिलाधिकारी द्वारा मानसिक व आर्थिक रूप से नुकसान पहुंचाया जा रहा है।
वहीं उपजिलाधिकारी राजीव मोहन सक्सेना ने कहा कि उक्त कटान में काटे गए पेंड़ की परमिट उस गाटा संख्या में नही है। इसलिए काटी गई लकड़ी को पुलिस के हवाले करके आगे की कार्यवाई के लिए वन क्षेत्राधिकारी टिकरी विनोद नायक को पत्र भेजा गया है।जबकि वन क्षेत्राधिकारी विनोद नायक ने कहा कि लेखपाल द्वारा दिए गए खसरा खतौनी के आधार पर दो परमिट जारी किया गया था।जिसमे कटान के लिए 149 पेड़ों पर वन विभाग द्वारा छपान भी करवा दिया गया था।उसी चिन्हित पेड़ों में कटान हुई है।