युग जागरण न्यूज़ नेटवर्क
यह एक उत्कृष्ट सम्मान है,
उत्कृष्ट संस्कार से विभूषित ,
यहां खुशियों को आसमान में उड़ान भरने की,
इससे बढ़ती है ताकत,
इससे मिलता खूब अभिमान है।
यह सम्पूर्णता और सुकून देने वाली ताकत बनकर,
राष्ट्रीयता को जागृत कर,
सफलतम कृतियों को संजोकर,
खुशहाली लाने का एक अपूर्व दर्शन है।
इस कारण इसके सौन्दर्य और श्रंगार में,
बढ़ जाती आकर्षण है।
यहां यह हिन्दी का संस्कार,
हमें नवीनतम रंग में,
रंगने का साहस देती है,
वैश्विक स्तर पर भारतीयता को,
आगे बढ़ाने में मदद करते हुए,
खुशियां और सुकून देने वाली ताकत बनकर,
अद्भुत और प्रेरणादाई,
श्रंगार रस की खूबसूरत पहचान बनाने वाली,
शक्ति बनकर आगे बढ़ने में,
हरपल हरक्षण मदद करने में,
सर्वथा आगे रहने वाली,
गुणकारी औषधि सी दिखती है।
हिन्दी आन बान और शान है,
भारतीय संस्कृति में सना हुआ खान है,
रंगों की महारानी है,
खूबसूरत पहचान बनाने वाली रानी है,
समर्पित भाव से सना हुआ संस्कार है,
भारतीय संगीत से सजी हुई,
एक स्वप्न स्नेहिल अवतार है।
हिन्दी है तो सबकुछ है,
नहीं तो पछतावा निश्चित है,
यह एक सात्विक विचार है,
आर्यावर्त भरतखण्ड का,
सबसे समृद्ध आभार है।
हमें सम्हलकर चलना होगा,
हिन्दी के संग बैठकर इनके रंग में,
ख़ुद को अब रंगना होना।
हिन्दी संग अब रहें यहां,
सबमें खुशियां और आनन्द की खैरात,
अब भरपूर भर दें यहां।
डॉ० अशोक,पटना,बिहार।